स्मृति उपवन में 13 अक्टूबर 2018 को शाम 3 से 10 बजे तक सपना चौधरी का डांस प्रोग्राम आयोजित होने वाला था। इसके प्रोग्राम के प्रति टिकट ऑनलाइन और ऑफलाइन 300 रुपये में बेचे गए थे. प्रोग्राम की तारीख तो आ गई लेकिन सपना नहीं आईं।
लखनऊ की एक अदालत ने हरियाणवी गायिका और डांसर सपना चौधरी (Sapna Choudhary) के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी किया है। सपना पर आरोप है कि एडवांस भुगतान किए जाने के बाद भी उन्होंने एक डांस कार्यक्रम को रद्द कर किया और टिकट लेने वालों को पैसे वापस नहीं किए। कार्यक्रम आयोजकों के खिलाफ भी FIR दर्ज की गई है।

सपना पर अदालत का वार
अतिरिक्त मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी शांतनु त्यागी ने सुनवाई की अगली तारीख 30 सितंबर तय की है। लखनऊअदालत ने नवंबर 2021 में भी चौधरी के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी किया गया था, जिसके बाद वह अदालत में पेश तो हुईं पर उन्हें जमानत मिल गई।

कोर्ट में नहीं हुईं पेश
सपना चौधरी को इसी सोमवार को अदालत में पेश होना था, लेकिन वह नहीं आईं और न ही उनके वकील ने कोई छूट याचिका दायर की इसलिए कोर्ट ने सपना के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी किया। सब-इंस्पेक्टर फिरोज खान ने इस संबंध में 14 अक्टूबर 2018 को लखनऊ के आशियाना थाने में एफआईआर दर्ज कराई थी।

2021 में भी लगा था धोखाधड़ी का आरोप
यह पहली बार नहीं है जब सपना पर धोखाधड़ी और विश्वासघात का आरोप लगाया गया है। फरवरी 2021 में दिल्ली पुलिस की आर्थिक अपराध शाखा ने सपना चौधरी के खिलाफ धोखाधड़ी और विश्वासघात के आरोप में मामला दर्ज किया था । सपना का मैनेजमेंट करने वाली एक सेलिब्रिटी मैनेजमेंट कंपनी ने उनके और उनकी मां और भाई सहित कई अन्य लोगों के खिलाफ आपराधिक विश्वासघात, आपराधिक साजिश, धोखाधड़ी और धन की हेराफेरी के लिए शिकायत दर्ज की थी, जिसके बाद मामला दर्ज किया गया था।

एफआईआर में क्या कहा गया है
प्राथमिकी के अनुसार, शिकायतकर्ता ने अपनी शिकायत में दावा किया कि लोकप्रिय हरियाणवी सिंगर सपना चौधरी ने एक कलाकार प्रबंधन समझौता तोड़ा, जिसमें यह स्पष्ट किया गया था कि वह किसी अन्य कंपनी के साथ काम नहीं करेगी और न ही किसी अन्य कंपनी में शामिल होंगी, और न ही किसी ग्राहक के साथ प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष संपर्क होगा। प्राथमिकी में कहा गया है कि सपना ने समझौते का उल्लंघन किया और अनुबंध की शर्तों के खिलाफ व्यावसायिक गतिविधियां कीं।