इस बार गणतंत्र दिवस का समारोह ख़ास होने वाला है, क्योंकि इस बार राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली के कर्तव्य पथ पर गणतंत्र दिवस की परेड में अंतर्राष्ट्रीय गीता महोत्सव की थीम पर हरियाणा की भगवान श्री कृष्ण की विराट स्वरूप की झांकी को दिखाया जाएगा।

बता दें कि लगातार दूसरी बार रक्षा मंत्रालय ने गणतंत्र दिवस के समारोह के लिए हरियाणा की झांकी का चयन किया है। इस से पहले खेलों में राज्य की उपलब्धियों को देखते हुए ‘खेलों में नंबर वन हरियाणा’ की थीम पर झांकी का चयन हुआ था।लेकिन इस बार संस्कृति और सभ्यता की एक पहचान बनाते कुरूक्षेत्र में आयोजित होने वाली अंतर्राष्ट्रीय गीता महोत्सव की थीम पर हरियाणा की भगवान श्री कृष्ण की विराट स्वरूप की झांकी को दिखाया जाएगा।

इस संबंध में मुख्यमंत्री के अपर प्रधान सचिव अमित अग्रवाल ने बताया कि,” पवित्र नदी सरस्वती के तट पर, वेदों और पुराणों की रचना और संकलन किया गया था। लगभग 5,159 साल पहले महाभारत युद्ध के पहले दिन, श्रीमद्भगवद् गीता का शाश्वत संदेश भगवान कृष्ण ने कुरुक्षेत्र के युद्ध के मैदान में अर्जुन को दिया था, जभी से कुरुक्षेत्र की पहचान गीता के जन्मस्थान के रूप में की गई है।”
इसके साथ ही उन्होंने कहा कि,”सेल 2014 में जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कुरुक्षेत्र का दौरा किया था, तब उन्होंने कहा था कि कुरुक्षेत्र को गीता के स्थान के रूप में मान्यता देने के लिए हर संभव प्रयास किया जाएगा।इसी सोच को मूर्त रूप देते हुए हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर के नेतृत्व में गीता की जन्मभूमि को विश्व स्तर पर पहचान मिल रही है और इस श्रंखला के तहत देश-विदेश में ‘अंतर्राष्ट्रीय गीता महोत्सव’ का भी आयोजन किया जा चुका है।”

बता दें कि हरियाणा की ये झांकी गणतंत्र दिवस की इस परेड में पूरी दुनिया को श्रीमद् भगवद गीता का एक अमर संदेश देगी। इस झांकी में भगवान कृष्ण को अर्जुन के सारथी के रूप में सेवा करते और उन्हें गीता का ज्ञान देते हुए दिखाया जाएगा।इस झांकी में विराट स्वरूप में भगवान विष्णु के नौ सिर है, जिसमें अग्नि, नरसिंह, गणेश, शिव, विष्णु, ब्रह्मा, अश्विनी कुमार, हनुमान और परशुराम हैं, जो बाएं से दाएं क्रम में हैं।