ट्रेन में सफर करना दिसंबर 2021 से सस्ती हो जाएगा। ट्रेन टिकट पर 53 प्रकार की रियायतें फिर से लागू हो जाएंगी। इससे बड़ी आबादी को सीधा फायदा होगा। इसके साथ ही वरिष्ठ नागरिक, दिव्यांग, खिलाड़ी, मीडिया और सैनिकों की वीरांगनाओं आदि को अगले माह से सस्ती टिकट मिलने की उम्मीद है। इससे पहले 25 से 75 प्रतिशत टिकट के बेसिक किराए में छूट दी जाती थी जो कोरोना काल के बाद से बंद है।
बता दें कि रेल मंत्रालय ट्रेनों से स्पेशल दर्जा हटाकर सुविधाओं को फिर से लागू करेगा। इतना ही नहीं लंबी दूरी की रेल टिकट भी अब यात्रियों को अनरिजर्व टिकटिंग सिस्टम से ही मिलने लगेगी। मौजूदा समय में चुनिंदा ट्रेनों की टिकट ही यूटीएस से मिलती है, जिसकी वजह से यात्रियों पर किराए का बोझ अधिक पड़ता है। स्पेशल ट्रेन का दर्जा हटते ही किराए में भी कमी आ जाएगी।
शारीरिक रूप से दिव्यांग यात्री को स्लीपर और थर्ड एसी में 75 प्रतिशत, जबकि प्रथम और सेकेंड एसी में 50 प्रतिशत छूट मिलती है। नेत्रहीन यात्री के साथ यात्रा करने वाले को भी राजधानी और शताब्दी जैसी महत्वपूर्ण गाड़ियों में थ्री AC श्रेणी में 25 प्रतिशत तक की छूट मिलती थी।
इसी तरह अलग-अलग बीमारियों पर भी रियायत दी जाती है। कैंसर रोगी और उसके साथ यात्रा करने वाले को 75 प्रतिशत और यही सुविधा थैलेसीमिया और हार्ट रोगियों को भी मिलती है। 60 वर्ष की उम्र या इससे पार वरिष्ठ नागरिकों में पुरुषों को सभी श्रेणियों में 40 प्रतिशत व 58 वर्ष या इससे पार वरिष्ठ नागरिक महिला को 50 प्रतिशत तक छूट का प्रविधान है।
राष्ट्रपति, पुलिस पदक और प्रशंसनीय सेवाओं के लिए भारतीय पुरस्कार विजेताओं को भी 50 प्रतिशत तक छूट दी जाती है। इस तरह 53 प्रकार की छूट दी जाती हैं।
महामारी के समय में देश की तमाम सुविधाओं पर सीधा असर पड़ा, जिसकी वजह से रेलवे ने भी रेल टिकट पर मिलने वाली रियायत को बंद कर दिया था। पहले कंप्यूटर पर यात्री की उम्र फीड होते ही उसको अपने आप रियायती टिकट मिल जाती थी।
स्वास्थ्य मंत्रालय की गाइडलाइंस के बाद रिजर्वेशन कार्यालय में सॉफ्टवेयर में रियायती टिकट पर पाबंदी लगा दी गई थी। करीब पौने दो साल से यात्रियों को स्पेशल दर्जे की ट्रेनों में यात्रा करनी पड़ती थी।