लंबे समय से शहर की सड़कों की हालत खराब है। जर्जर सड़कें परेशानी का सबब बनी हुई हुई है। बारिशों में तो लोगों को खूब परेशानी होती है। नगर निगम पार्षद सामाजिक व आधुनिक संगठन कई बार इन सड़कों की दशा सुधारने को निगमायुक्त यशपाल यादव से मिल चुके।
निगमायुक्त यशपाल यादव ने पिछले महीने इंजीनियरिंग शाखा के अधिकारियों को निर्देश दिए थे कि 30 नवंबर से पहले सभी जर्जर सड़कें के बना दी जाए और स्वयं आश्वस्त भी किया। मगर डेडलाइन खत्म होने को मात्र 1 सप्ताह बचा है और जर्जर सड़कें बनने की कोई आस नजर नहीं आ रही।

वैसे महीना भर में इतना जरूर हुआ है कि सेक्टर की कई प्रमुख सड़कें अब एमडीएनए बनाने की योजना तैयार की है। जिनमें सेक्टर 11 -12, डिवाइडिंग रोड, 15ए ,16 ए ,डिवाइडिंग रोड ,तथा तिकोना पार्क व्यापार मंडल कार्यालय से लेकर 2-3 चौक, व ईएसआई चौक तक होते हुए 4-5 चौक तक की सड़क शामिल है। बाकी सड़कों का निर्माण का काम अभी तक राम भरोसे ही है।
इसमें शहीद बाबा दीप सिंह चौक से सारन रोड जाने वाली सड़क का हाल लंबे समय से खराब है । यह काम शुरू हुआ था पर बीच में रुका हुआ है । डबुआ चौक, एयरफोर्स रोड की सड़क जर्जर है। एसजीएम नगर और गांधी कॉलोनी के कई जगह सड़कें जर्जर हाल में है।

दो नंबर एच ब्लॉक की सड़क बनाने का वर्क आर्डर सीएम घोषणा के तहत करीब 2 वर्ष पहले किया गया था। करीब 30 लाख की लागत से दो एच मार्केट की सड़क भी बननी थी । मगर अब तक काम शुरू नहीं हो पाया इसके लिए कोई ठेकेदार आगे नहीं आ पा रहा है।
शहर की जर्जर व अति दुर्दशा का शिकार सड़कों से बारिश के दिनों में वाहन चालक गिरते पड़ते हुए निकले थे। तब वाहन चालक शासन प्रशासन को मन ही मन कोसते हुए निकलते थे। इस दौरान निगम अधिकारियों ने कहा कि बारिश खत्म होने के बाद सड़क के बना दी जाएगी।

बारिश खत्म होने पर भी काम शुरू नहीं हुआ। तो नई तारीफ मिली कि दिवाली से पहले शहर की सड़कें चकाचक होंगी। दिवाली पूर्व के दिनों में भी लोगों का एक दूसरे के यहां आवागमन इन्हीं टूटी-फूटी सड़कों से हुआ है।दिवाली भी निकली फिर निगमायुक्त यशपाल यादव ने इंजीनियरिंग शाखा के अधिकारियों की बैठक के आदेश दिए थे कि 30 नवंबर से पहले बना दी जाए।
उन्होंने एनआईटी, ओल्ड फरीदाबाद और बल्लभगढ़ के कार्यकारी अभियंता को एस्टीमेट बनाने को कहा था। अब 23 नवंबर की तारीख निकल चुकी है और डेडलाइन खत्म होने ठीक होने में ठीक 1 सप्ताह बचा है, पर निगमायुक्त के आदेशों का पालन अब तक होता नजर नहीं आ रहा है ।

शहर की जर्जर सड़कें ज्यों की त्यो है। कहीं कोई मरम्मत कार्य शुरू नहीं किया गया और ना ही नए सिरे से बनाई जा रही है। ऐसे में सवाल उठता है कि मात्र 1 सप्ताह में सारी सड़कों का निर्माण कार्य कैसे पूरा हो सकता है, जब काम शुरू नहीं हुआ।
इस पर मुकेश शर्मा पूर्व वरिष्ठ उप महापौर ने कहा: नगर निगम समय रहते ठेकेदार का भुगतान नहीं करता। यही वजह है कि ठेकेदार काम के लिए आगे नहीं आते। अति व्यस्त हाय हार्डवेयर चौक से शहीद बाबा दीप सिंह चौक के सड़क का काम रुका हुआ है। अब यह जनप्रतिनिधियों की जिम्मेवारी बनती है कि इस दशा में गंभीर हो।

इस पर रामजीलाल मुख्य अभियंता नगर निगम ने कहा: सड़कों के बारे में सभी कार्यकारी अभियंता से रिपोर्ट मांगी गई है रिपोर्ट आने के बाद ही पता चल पाएगा कि इस सड़क पर टेंडर किया गया है नगर निगम की सड़कों को जल्द बनाएंगे।
इस पर मनोज नजवा, पार्षद ने कहा: सिर्फ कागजी काम हो रहे हैं और बयानबाजी तक कि समिति है बाकी नगर निगम के अधिकारी कोई ध्यान नहीं दे रहे हैं । निगम आयुक्त के आदेश पर भी कोई अमल नहीं होने से स्पष्ट है कि अधिकारी किस तरह निकुंज है

इस पर प्रदीप चावला ने कहा :टूटी सड़क वाहन चालकों को तो दुखी कर ही रही है यह प्रदूषण का भी कारण बन रही है पर कुछ होता नजर नहीं आ रहा राम जाने कब सुधरेंगे निगम अधिकारी।