आज के समय में किसान आंदोलन एक बड़ा मुद्दा बन चुका है। पूरे देश में किसान आंदोलन जारी है। इस बीच एक अलग ही तस्वीर निकल कर सामने आई है। दरअसल किसान आंदोलन के बीच किसानों ने विवाह सम्पन करवाया वो भी बेहद अनोखे ढंग से। जहां किसान आंदोलन में बने पंडाल को मंडप बनाकर दो किसानों ने अपने बेटा-बेटी की शादी कराई।साथी मीडिया से बात करते हुए कहा कि जब तक सरकार तीनों कृषि कानून वापस नहीं ले लेती वह अपने सारे मांगलिक कार्यक्रम यहीं से करेंगे।

ये पूरा मामला मध्य प्रदेश के रीवा से सामने आया है। खबर के अनुसार धरना देने बैठे एक किसान की बेटी की शादी थी। ऐसे में धरना स्थल से ही बेटी को विदा करने का फैसला परिवारवालों ने लिया।वहीं दूल्हा का पिता भी इसी जगह पर धरना दे रहा है। इसलिए दूल्हा पक्ष भी यहां से शादी करने को राजी हो गया।

जहां कृषि कानून के विरोध में नारे लगाने वाली जगह पर मंगल गीत गाए गए और डीजे पर डांस किया गया। आंदोलन वाले मंच पर किसान हाथों में फूल माला लिए खड़े थे। जैसे दूल्हा-दुल्हन पहुंचे तो उनपर पुष्प वर्षा करने लगे। जिसके बाद शादी की सारी रस्में निभाई गईं।
किसान आंदोलन के बीच ऐसे अनोखे शादी की चर्चा हर जगह हो रही है। आपको बता दे कि आंदोलन कर रहे दो किसान आपस में समधी बन गए। दोनों समधी किसान आंदोलन के चलते रीवा की करहिया मंडी में पिछले 75 दिन से धरना दे रहे हैं। ऐसे में उन्होंने अपने बेटा-बेटी की शादी भी किसान आंदोलन के धरने स्थल से करने से तय कर लिया।
कहा कि इससे हमारे किसान भाइयों में एक अच्छा संदेश जाएगा और उनको हिम्मत मिलेगी।इसी के साथ इस शादी में दूल्हा-दुल्हन ने मंत्रों के साथ संविधान की शपथ ली। वहीं संविधान निर्माता डॉक्टर भीमराव आंबेडकर एवं शिक्षा की देवी सावित्री बाई फुले की फोटो के सात फेरे लिए।