भारत माला योजना के तहत शामली से अंबाला तक 110 किलो मीटर लंबी सिक्स लेन हाइवे बनाया जा रहा है। इसके लिए 56 गांवों की जमीन को अधिगृहित किया जाएगा। इस प्रोजेक्ट से यूपी और हरियाणा के लोगों को फायदा होगा।
केंद्र सरकार की एक और बड़ी योजना सामने आ रही है । जिसमें रिंग रोड के बाद भारत माला योजना के तहत छह लेन का ग्रीन फील्ड कॉरिडोर प्रोजेक्ट शुरू होने जा रहा है। यूपी को सीधे ट्राईसिटी मतलब चंडीगढ़ से सीधा जोड़ने की योजना है। आपको बता दें कि यूपी के शामली के अंबाला तक लगभग 110 किमी. लंबे नेशनल हाईवे का निर्माण किया जाना है। इसके लिए अंबाला के साहा, बराड़ा, मुलाना, कैंट के 56 गांवों के खेतों में नया नेशनल हाईवे निकलेगा।
साल 2024 तक इस प्रोजेक्ट को पूरा करने लिए दिन-रात कार्य किया जा रहा है। नेशनल हाईवे अथॉरिटी ऑफ हरियाणा के लाडवा, जगधरी, रादौर, सरस्वतीनग, इंद्र तहसील क्षेत्र से होकर छह लेन नेशनल हाईवे पर लगभग 4 हज़ार करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे। हाइवे निर्माण से पहले डिटेल प्रोजेक्ट रिपोर्ट तैयार करने के लिए तकनीकी अथारिटी के अधिकारियों के साथ जमीन को अधिगृहित करने के लिए अंबाला, यमुनानगर, करनाल और कुरुक्षेत्र में लैंड मजिस्ट्रेट की भी जिम्मेदारी तय की है। शामली से अंबाला पहुंचने वाले छह मार्गीय परियोजना को रिंग रोड में आकर मिलेगा ।
अंबाला शहर के सद्दाेपुर, पंजोखरा, अंबाला छावनी के रामगढ़ उर्फ शरीफपुर, रतनहेड़ी, पिलखनी, कपूरी, भीलपुरा, खुड्डी, साहा के मिट्ठापुर, समलेहड़ी, तेपला, हरियोली, हरड़ा, रामपुर, घसीटपुर, टोबा, हेमा माजरा, पपलौथा, कालपी, नौहनी, मौजगढ़, राजौली, केसरी, छापरा, शेरगढ़, हरड़ी, अकबरपुरा, धुराला, फुलेलमाजरा, खारूखेड़ा, बराड़ा के अलावलपुर, फोक्सा, मनू माजरा, तलरेडी रंगरान, थंबड़, कामस, अधोया हिंदवान, कंबासी, तंदवाली, अधोया मुसलमान, अधोई, दहिया माजरा, बराड़ा के सज्जन माजरी, दादुपुर, चहल माजरा, सरकपुर, रजौली, राजोखेड़ी, तंदवाल, पट्टी बखेरू और घेलड़ी गांव की खेतों से होकर हाईवे बनेगा।
110 किलोमीटर लंबे इस नेशनल हाईवे पर सिर्फ 4 जगहों पर ही वेसाइड एमिनिटी बनाया जाएगा। जहां आपको पेट्रोल, CNG पंप, रेस्टोरेंट और शौचालय उपलब्ध रहेंगे। आपको बता दें कि शौचालय की सुविधा बिल्कुल फ्री रहेगी। वहीं अन्य सुविधाओं का भुगतान करना होगा।
शामली से अंबाला तक प्रस्तावित इस 6 लेन हाईवे का निर्माण कार्य पूरा होने के बाद नेशनल हाईवे संख्या 44 पर वाहनों का दबाव कम होगा। अभी रोजाना एनएच 44 पर 25 से 35 हजार से अधिक वाहन गुजरते हैं। उम्मीद जताई जा रही है कि नया नेशनल हाईवे बनने के बाद इस पर वाहनों का दबाव कम होगा।
“भारत माला योजना में इस प्रोजेक्ट को शामिल किया गया है। शामली से अंबाला तक करीब 110 किलो मीटर लंबे इस नेशनल हाईवे का निर्माण कार्य 2024 तक पूरा किया जाना है। इसके लिए अब जमीन अधिगृहण करने की तैयारी चल रही है।”
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